बाराबंकी।
अखंड भारत के निर्माता, विश्व विजेता महान सम्राट अशोक मौर्य की जयंती जिला बार एसोसिएशन बाराबंकी के सभागार में डॉ अंबेडकर राष्ट्रीय अधिवक्ता मंच के जिला संयोजक आर पी गौतम एडवोकेट, सर्वेश मौर्य एडवोकेट की अगुवाई में बड़े धूमधाम से हर्षोल्लास पूर्वक मनाई गई। जयंती समारोह की अध्यक्षता वरिष्ठ अधिवक्ता रामनाथ मौर्य एवं संचालन आर पी गौतम एडवोकेट ने किया।सबसे पहले अधिवक्ताओं ने सम्राट अशोक मौर्य के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित करके उनके शौर्य और संघर्ष को नमन किया।
आरपी गौतम एडवोकेट ने कहा कि सम्राट अशोक विश्व प्रसिद्ध एवं शक्तिशाली भारत के महान सम्राट थे। बौद्ध धर्म को संरक्षण देने वाले प्रतापी राजा थे उनका कार्यकाल ईसा पूर्व 269 से 232 प्राचीन भारत में था। सम्राट अशोक एक ऐसे राजा थे, जिसने अखंड भारत पर राज किया था। भारत में मौर्य वंश की नींव रखने वाले इस राजा ने भारत के उत्तर में हिंदूकुश से लेकर गोदावरी नदी तक राज्य का विस्तार किया था इसके साथ ही उनका राज्य बांग्लादेश से लेकर पश्चिम अफगानिस्तान और ईरान तक राज्य विस्तार था। सम्राट अशोक बौद्ध धर्म के अनुयाई थे,
और बौद्ध धर्म के प्रचार प्रसार के लिए अपने बेटे महेंद्र, पुत्री संघमित्रा को श्रीलंका भेजा था। सम्राट अशोक के सपनों का भारत बनाने, देश की एकता, अखंडता, आपसी सौहार्द, प्रेम और भाईचारे को कायम रखने के लिए अधिवक्ताओं से एकजुट होने का आवाहन किया। वरिष्ठ अधिवक्ता रामनाथ मौर्य ने कहा कि सम्राट अशोक ने विश्व विजेता बनने के बाद देश को शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ाने के लिए नालंदा एवं तक्षशिला जैसे विश्वविद्यालयों, धम्मोदेशना के लिए शिलालेख का निर्माण कराया था।