
बाराबंकी, यूपी।
बाराबंकी स्थित जिला पंचायत कार्यालय परिसर में राष्ट्रीय ध्वज का फटा हुआ और जीर्ण-शीर्ण अवस्था में फहरना, राष्ट्रीय ध्वज के अपमान का गंभीर मामला बन गया था। जिम्मेदार अधिकारियों की इस घोर अनदेखी के बाद, आज सुबह जिलाधिकारी से शिकायत होते ही, आनन-फानन में फटे हुए तिरंगे को उतार लिया गया।
राष्ट्रीय ध्वज संहिता और देश के कानून के अनुसार, किसी भी क्षतिग्रस्त या फटे हुए राष्ट्रीय ध्वज को फहराना गैरकानूनी है और इसे हमारे राष्ट्र गौरव का अपमान माना जाता है। इसके बावजूद, जिला पंचायत परिसर में यह स्थिति काफी समय से बनी हुई थी।
इस गंभीर लापरवाही को सिविल कोर्ट के एक जागरूक अधिवक्ता कुलदीप सिंह ने संज्ञान में लिया। उन्होंने तुरंत जनसुनवाई पोर्टल के माध्यम से जिलाधिकारी शशांक त्रिपाठी से इसकी शिकायत की। शिकायत दर्ज होते ही, जिला पंचायत प्रशासन में हड़कंप मच गया। अपनी बड़ी गलती और नियमों के स्पष्ट उल्लंघन को समझते हुए, प्रशासन ने बिना किसी देरी के, तुरंत फटे हुए राष्ट्रीय ध्वज को नीचे उतार दिया।
यह घटना न केवल सरकारी विभागों में राष्ट्रीय प्रतीकों के प्रति लापरवाही को उजागर करती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि नागरिकों की सजगता और ऑनलाइन शिकायत प्रणाली कैसे प्रशासन को जवाबदेह ठहराने में प्रभावी साबित हो सकती है।
रिपोर्ट – मंसूफ अहमद
Author: Barabanki Express
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